ग्रामीणों ने एमडीडीए पर उत्पीड़न का लगाया आरोप।

मसूरी  :- मसूरी देहरादून विकास प्राधिकरण द्वारा मसूरी  किंक्रेग एवं अन्यत्र स्वरोजगार करने वाले ग्रामीणों को सीलिंग और धवस्तीकरण के नोटिस जारी करने के बाद स्थानीय लोगों में खासी नाराजगी देखी जा रही है ,आज सभी दुकानदारों द्वारा विरोध में दुकानें बंद कर प्रदर्शन किया गया और प्रशासन के खिलाफ जमकर नारेबाजी की गई लोगों का आरोप था कि मसूरी देहरादून विकास प्राधिकरण द्वारा अवैध निर्माण के नाम पर लोगों का शोषण किया जा है जबकि ग्रामीणों द्वारा अपनी भूमि पर स्वरोजगार करने के लिए पिछले 30-35 वर्षों से छोटी छोटी दुकाने खोल कर अपने परिवार का भरण पोषण कर रहे है साथ ही उन्होंने आरोप लगाया कि विभाग द्वारा ऊंचे रसूख वालों पर कोई कारवाई नहीं की जाती लेकिन गरीब लोगों का उत्पीड़न किया जा रहा है ।

इस बारे में ग्रामीण बलवीर सिंह जदवाण ने बताया कि मसूरी देहरादून विकास प्राधिकरण की मिलीभगत से मसूरी में आवासीय नक्शे पास कर उसमें होटल संचालित किए जा रहे हैं लेकिन विभाग द्वारा उन पर कोई कार्रवाई नहीं की जाती है और मसूरी देहरादून मार्ग पर पिछले 30-35 वर्षों से लोग अपनी निजी भूमि पर स्वरोजगार कर रहे हैं जिसके बाद विभाग द्वारा उनको नोटिस जारी कर दिया गया है उन्होंने कहा कि यदि विभाग द्वारा ग्रामीणों पर कोई भी कार्रवाई की जाएगी तो वह उसका विरोध करेंगे  ।
ग्रामीण सत्य रावत का कहना है कि मसूरी देहरादून विकास प्राधिकरण द्वारा उन्हें नोटिस जारी कर दिया गया है जबकि वे अपनी निजी भूमि पर अपने पूर्वजों के समय से दुकानें संचालित करते आ रहे हैं उन्होंने बताया कि प्राधिकरण द्वारा ध्वस्तीकरण और सीलिंग के आदेश जारी किए गए हैं जिसके खिलाफ उनका प्रदर्शन जारी है और यदि विभाग द्वारा इसी प्रकार ग्रामीणों का उत्पीड़न किया गया तो वह उग्र आंदोलन के लिए बाध्य होंगे।

आज जिन्हें एमडीडीए अवैध निर्माण बता रहा है वह निर्माण एक या 2 दिन में बनकर तैयार तो नहीं हुए होंगे जब यह निर्माण कार्य चल रहे थे उस वक्त प्राधिकरण के अधिकारियों को यह दिखाई क्यों नहीं दिए यह एक गंभीर प्रश्न है  ।वैसे तो प्राधिकरण की कार्यप्रणाली पहले से ही संदेह के घेरे में रही है लेकिन कुछ वर्षों से प्राधिकरण नियम विरुद्ध आवासीय भवनों के नक्शे धड़ल्ले से पास कर रही है जिन पर बाद में व्यवसायिक गतिविधियां चलती रहती है गंभीर जांच का विषय है।

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